प्राइवेट अस्पतालों में ज्यादा बिल को लेकर केंद्र पर नाराज हुआ सुप्रीम कोर्ट, कहा- रेट हो फिक्स वरना...
शीर्ष अदालत ने केंद्र पर सख्त होते हुए कहा कि पूरे देश में मौजूद अस्पतालों को निर्देश दिया जाए कि इलाज से लेकर सर्जरी तक का रेट फिक्स हो।
प्राइवेट अस्पतालों में ज्यादा बिल को लेकर केंद्र पर नाराज हुआ सुप्रीम कोर्ट
प्राइवेट अस्पतालों में बिलों के अंतर को लेकर सुप्रीम कोर्ट केंद्र पर खासा नाराज दिखा। सरकारी और प्राइवेट अस्पतालों में इलाज की दरों में असमानता को देखते हुए सुप्रीम कोर्ट ने केंद्र को चेताते हुए कहा कि वो इस पर एक्शन ले वरना वो CGHS वाला नियम लागू कर देगा।
किसने दाखिल की है याचिका
सुप्रीम कोर्ट में दाखिल याचिका में कहा गया है कि मोतियाबिंद सर्जरी की लागत सरकारी अस्पताल में प्रति आंख 10,000 रुपये और निजी अस्पताल में 30,000-1,40,000 रुपये तक हो सकती है। ये असमानता बंद होनी चाहिए। सुप्रीम कोर्ट में याचिका दाखिल करते हुए नॉन गवर्नमेंट ऑरगेनाईजेशन ‘वेटरंस फोरम फॉर ट्रांसपेरेंसी इन पब्लिक लाइफ’ ने अस्पतालों में मेडिकल चार्ज के अलग-अलग मानकों को लेकर सवाल उठाया है।
अस्पताल करें रेट फिक्स- सुप्रीम कोर्ट
इसी याचिका पर सुनवाई करते हुए सुप्रीम कोर्ट ने मंगलवार को 14 साल पुराने कानून-क्लिनिकल एस्टेब्लिशमेंट (केंद्र सरकार) नियमों को लागू करने में केंद्र की इस असमानता और असमर्थता पर कड़ी आपत्ति जताई। शीर्ष अदालत ने केंद्र पर सख्त होते हुए कहा कि पूरे देश में मौजूद अस्पतालों को निर्देश दिया जाए कि इलाज से लेकर सर्जरी तक का रेट फिक्स हो। इसका अस्पताल में डिस्पले भी लगाया जाए, ताकि मरीजों को इसकी पूरी जानकारी हो सके।
सुप्रीम कोर्ट सख्त
सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि अगर केंद्र सरकार ऐसा नहीं करती है तो हम इसकी व्यवस्था कर देंगे। जस्टिस बीआर गवई और संदीप मेहता की पीठ ने याचिका की सुनवाई करते हुए कहा कि अगर सरकार फेल होगी तो सीजीएचएस- निर्धारित मानक दरों को लागू करने पर विचार करेगी
देश और दुनिया की ताजा ख़बरें (Hindi News) अब हिंदी में पढ़ें | देश (india News) और चुनाव के समाचार के लिए जुड़े रहे Times Now Navbharat से |
अक्टूबर 2017 में डिजिटल न्यूज़ की दुनिया में कदम रखने वाला टाइम्स नाउ नवभारत अपनी एक अलग पहचान बना चुका है। अपने न्यूज चैनल टाइम्स नाउ नवभारत की सोच ए...और देखें
वक्फ बिल में संशोधन क्यों मंजूर नहीं, JPC के सामने अरशद मदनी ने दी अपनी दलील
'राज्यसभा में व्यवधान की सबसे बड़ी बाधा चेयरमैन खुद हैं', अविश्वास प्रस्ताव पर बोले कांग्रेस अध्यक्ष खरगे
99% शादी में होती है पुरुषों की गलती...' इंजीनियर अतुल सुभाष के सुसाइड पर ये क्या बोल गईं कंगना रनौत
'गगनयान' कब होगा लॉन्च? केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह ने दी जानकारी; अंतरिक्ष संबंधी गतिविधि विधेयक पर भी कही बड़ी बात
भारत-नेपाल पर्यटन मीट 2024 की पहली बैठक आयोजित, टूरिज्म को बढ़ावा देने की पहल
© 2024 Bennett, Coleman & Company Limited