PLI Scheme: पीएलआई स्कीम से इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में बनीं 1.37 लाख से ज्यादा नौकरियां, आया 10213 करोड़ रु का निवेश

PLI Scheme: प्रोडक्शन लिंक्ड इंसेंटिव (पीएलआई) स्कीम के कारण दिसंबर 2024 तक इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में 10,213 करोड़ रुपये का निवेश आया है और 1.37 लाख प्रत्यक्ष रोजगार के अवसर पैदा हुए हैं।

jobs created in electronics manufacturing sector

इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में नए रोजगार बने

मुख्य बातें
  • पीएलआई स्कीम से कई सेक्टरों को हुआ फायदा
  • इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में बने रोजगार के अवसर
  • 10213 करोड़ रु का निवेश आया

PLI Scheme: प्रोडक्शन लिंक्ड इंसेंटिव (पीएलआई) स्कीम के कारण दिसंबर 2024 तक इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरिंग सेक्टर में 10,213 करोड़ रुपये का निवेश आया है और 1.37 लाख प्रत्यक्ष रोजगार के अवसर पैदा हुए हैं। यह जानकारी संसद में सरकार द्वारा दी गई। केंद्रीय इलेक्ट्रॉनिक्स और आईटी राज्य मंत्री जितिन प्रसाद ने राज्यसभा को बताया कि पीएलआई स्कीम के तहत 662,247 करोड़ रुपये का संचयी उत्पादन हुआ है। साथ ही 137,189 अतिरिक्त रोजगार (प्रत्यक्ष नौकरियां) के अवसर सृजित किए गए हैं।

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निर्यातक देश बन गया भारत

लिखित जवाब में केंद्रीय मंत्री ने बताया कि इलेक्ट्रॉनिक्स मैन्युफैक्चरिंग पर सरकार का जोर होने के कारण भारत एक मोबाइल फोन आयातक से निर्यातक देश बन गया है। उन्होंने आगे बताया कि पीएलआई स्कीम के कारण देश में मोबाइल फोन का उत्पादन 5 गुना बढ़कर 2023-24 में 33 करोड़ यूनिट्स पर पहुंच गया है, जो कि 2014-15 में 6 करोड़ यूनिट्स पर था।

मोबाइल फोन मार्केट की वैल्यू बढ़ी

बीते 10 वर्षों में देश में बनने वाले मोबाइल फोन की वैल्यू में भी बड़ा इजाफा देखने को मिला है। 2023-24 में देश में बने मोबाइल फोन की वैल्यू 4,22,000 करोड़ रुपये थी, जो कि 2014-15 में 19,000 करोड़ रुपये थी। इसमें सालाना आधार पर 41 प्रतिशत की चक्रवृद्धि वार्षिक वृद्धि दर (सीएजीआर) से बढ़त हुई है।

निर्यात भी तेजी से बढ़ा

पीएलआई स्कीम के कारण देश में मोबाइल फोन का निर्यात भी तेजी से बढ़ा है। 2020-21 में देश से 22,868 करोड़ रुपये का मोबाइल फोन का निर्यात हुआ था, जो कि 2023-24 में बढ़कर 1,29,074 करोड़ रुपये हो गया है। इसमें सालाना आधार पर 78 प्रतिशत के सीएजीआर से वृद्धि हुई है।

74 प्रतिशत मोबाइल फोन होते थे आयात

2015 में देश में बिकने वाले 74 प्रतिशत मोबाइल फोन आयात किए जाते थे। वहीं, अब भारत में उपयोग होने वाले 99.2 प्रतिशत मोबाइल फोन घरेलू स्तर पर मैन्युफैक्चर किए जा रहे हैं।

केंद्रीय मंत्री ने मुताबिक, मोबाइल फोन के लिए बैटरी, चार्जर, पीसीबीए, कैमरा मॉड्यूल, डिस्प्ले मॉड्यूल, एनक्लोजर, यूएसबी केबल, फेराइट और ग्लास कवर जैसे विभिन्न इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों का भी निर्माण भारत में शुरू हो गया है। (इनपुट - आईएएनएस)

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काशिद हुसैन author

काशिद हुसैन अप्रैल 2023 से Timesnowhindi.Com (टाइम्स नाउ नवभारत) के साथ काम कर रहे हैं। यहां पर वे सीनियर कॉरेस्पोंडेंट हैं। टाइम्स नाउ नवभारत की ब...और देखें

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