अमेरिकी राष्ट्रपति पद की दौड़ में एक और भारतीय मूल का शख्स शामिल, विवेक रामास्वामी ने पेश की उम्मीदवारी

विवेक रामास्वामी रिपब्लिकन प्रेसिडेंशियल प्राइमरी में प्रवेश करने वाले दूसरे भारतीय-अमेरिकी हैं। इस महीने की शुरुआत में संयुक्त राष्ट्र में पूर्व अमेरिकी राजदूत निक्की हेली ने अपने राष्ट्रपति अभियान की घोषणा की थी।

Vivek Ramaswamy

विवेक रामास्वामी

भारतीय-अमेरिकी टेक उद्यमी विवेक रामास्वामी ने भी राष्ट्रपति पद के लिए अपनी उम्मीदवारी का ऐलान कर दिया है। उन्होंने अमेरिकी योग्यता वापस लाने और चीन पर निर्भरता समाप्त करने के वादे के साथ अपनी 2024 की राष्ट्रपति पद की दौड़ शुरू की है। इसी के साथ विवेक, निक्की हेली के बाद रिपब्लिकन पार्टी के राष्ट्रपति पद के प्राइमरी में प्रवेश करने वाले भारतीय समुदाय के दूसरे सदस्य बन गए हैं। 37 साल के विवेक रामास्वामी के माता-पिता केरल से अमेरिका चले गए थे और ओहियो में एक जनरल इलेक्ट्रिक प्लांट में काम करते थे। विवेक ने रूढ़िवादी राजनीतिक टिप्पणीकार टकर कार्लसन के फॉक्स न्यूज के प्राइम टाइम शो में एक लाइव साक्षात्कार के दौरान अपनी उम्मीदवारी की घोषणा की।

निक्की हेली भी हैं उम्मीदवार

विवेक रामास्वामी रिपब्लिकन प्रेसिडेंशियल प्राइमरी में प्रवेश करने वाले दूसरे भारतीय-अमेरिकी हैं। इस महीने की शुरुआत में संयुक्त राष्ट्र में पूर्व अमेरिकी राजदूत निक्की हेली ने अपने राष्ट्रपति अभियान की घोषणा की थी। उन्होंने कहा था कि वह रिपब्लिकन पार्टी से नामांकन के लिए पूर्व अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प के खिलाफ चुनाव लड़ेंगी।

विवेक ने की अमेरिकी आदर्शों की बात

रामास्वामी ने कहा कि हम राष्ट्रीय पहचान संकट के बीच में हैं। हम अपने मतभेदों के साथ लंबे समय तक साथ रहे हैं कि हम उन सभी तरीकों को भूल गए हैं जो वास्तव में अमेरिकी एक समान आदर्शों से बंधे हैं जिसने इस देश को 250 साल पहले स्थापित किया था। उन्होंने वोकिज्म को एक राष्ट्रीय खतरा बताया। उन्होंने कहा कि मुझे आज रात यह कहते हुए गर्व हो रहा है कि मैं इस देश में उन आदर्शों को पुनर्जीवित करने के लिए अमेरिका के राष्ट्रपति पद की दौड़ में हूं।

उन्होंने कहा, मुझे लगता है कि हमें अपने जीवन की हर भावना में योग्यता को अमेरिका में वापस लाने की जरूरत है। दूसरी पीढ़ी के भारतीय अमेरिकी रामास्वामी ने 2014 में रोइवेंट साइंसेज की स्थापना की और 2015 और 2016 के सबसे बड़े बायोटेक आईपीओ का नेतृत्व किया है।

कई बड़ी कंपनियों की स्थापना की

उन्होंने और भी सफल स्वास्थ्य सेवा और प्रौद्योगिकी कंपनियों की स्थापना की है और 2022 में उन्होंने अमेरिकी अर्थव्यवस्था में आम नागरिकों की आवाज को जगह देने के लिए एक नई फर्म स्ट्राइव एसेट मैनेजमेंट की शुरुआत की। रामास्वामी ने कहा, मैं अमेरिका को सबसे आगे रखने के पक्ष में हूं, लेकिन अमेरिका को पहले रखने के लिए हमें सबसे पहले यह पता लगाना होगा कि अमेरिका क्या है। मेरे लिए बुनियादी नियम वो हैं जो इस देश में खुलकर बोलने की आजादी देते हों।

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अमित कुमार मंडल author

करीब 18 वर्षों से पत्रकारिता के पेशे से जुड़ा हुआ हूं। इस दौरान प्रिंट, टेलीविजन और डिजिटल का अनुभव हासिल किया। कई मीडिया संस्थानों में मिले अनुभव ने ...और देखें

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