विस्तारित BRICS में बढ़ेगा भारत का दबदबा और रुतबा, समूह में नई दिल्ली के मित्र देशों को मिली जगह

BRICS New Members : ब्रिक्स में शामिल किए गए इन छह देशों के साथ भारत के प्रगाढ़ एवं पुराने संबंध हैं। मिस्र के साथ आपसी रिश्ते को नई ऊंचाई पर ले जाने के लिए पीएम मोदी ने गत जून में इस देश का दौरा किया। सऊदी अरब, यूएई और ईरान भारत के मित्र देश हैं और इनके साथ नई दिल्ली की रणनीतिक एवं आर्थिक साझेदारी है।

brics Summit

ब्रिक्स में छह नए सदस्य देश शामिल हुए हैं।

BRICS New Members : ब्रिक्स 2023 सम्मेलन दक्षिण अफ्रीका के जोहानिसबर्ग में संपन्न हो गया। इस सम्मेलन की सबसे बड़ी उपलब्धि ब्रिक्स का विस्तार रही है। इस समूह में अब पांच की जगह 11 देश होंगे। ब्रिक्स के सदस्य देशों ब्राजील, रूस, भारत, चीन और दक्षिण अफ्रीका ने समूह का विस्तार करते हुए इसमें छह नए सदस्य देशों को शामिल करने की अपनी सहमति दे दी। ब्रिक्स के नए सदस्य देश के रूप में ईरान, इथोपिया, सऊदी अरब, यूएई, अर्जेंटीना और मिस्र को शामिल किया गया है। ये देश एक जनवरी 2024 से ब्रिक्स के सदस्य देश बन जाएंगे।

इन छह देशों के साथ भारत के हैं प्रगाढ़ संबंध

ब्रिक्स में शामिल किए गए इन छह देशों के साथ भारत के प्रगाढ़ एवं पुराने संबंध हैं। मिस्र के साथ आपसी रिश्ते को नई ऊंचाई पर ले जाने के लिए पीएम मोदी ने गत जून में इस देश का दौरा किया। सऊदी अरब, यूएई और ईरान भारत के मित्र देश हैं और इनके साथ नई दिल्ली की रणनीतिक एवं आर्थिक साझेदारी है। अर्जेंटीना और इथोपिया के साथ भी भारत के मधुर संबंध हैं। जाहिर है कि मित्र देशों को ब्रिक्स में जगह मिली है इससे समूह में भारत का दबदबा और रुतबा दोनों बढ़ेगा।

ब्रिक्स में चीन को शामिल कराना चाहता था चीन

रिपोर्टों में कहा गया है कि चीन इस समूह में पाकिस्तान को भी शामिल कराना चाहता था लेकिन उसका कूटनीतिक दांव चल नहीं पाया जबकि भारत ने ब्रिक्स में यूएई को शामिल करने के लिए जबर्दस्त लॉबिंग की और उसका प्रयास सफल हुआ। हालांकि, ब्रिक्स में नए सदस्यों को शामिल करने के लिए रास्ता खुला रखा गया है। भविष्य में इस समूह में अन्य देश भी शामिल हो सकते हैं। पीएम मोदी ने ब्रिक्स के विस्तार को सही समय पर लिया गया सही कदम बताया है।

40 देशों ने ब्रिक्स में शामिल होने में रुचि दिखाई

बता दें कि लगभग 40 देशों ने ब्रिक्स में शामिल होने में रुचि दिखाई थी, जिनमें से 23 ने औपचारिक रूप से सदस्यता के लिए आवेदन किया था। समूह के विस्तार के निर्णय को समग्र विकास एजेंडे को आगे बढ़ाने के लिए ‘ग्लोबल साउथ’ की आवाज को प्रमुख प्राथमिकता वाले क्षेत्र के रूप में रखते हुए वैश्विक शासन को नया आकार देने के प्रयास के रूप में देखा जाता है।

पीएम मोदी ने ब्रिक्स के विस्तार पर जोर दिया

पीएम मोदी ने गुरुवार को कहा कि समूह का ‘आधुनिकीकरण और विस्तार’यह संदेश है कि सभी वैश्विक संस्थानों को बदलते दौर में खुद को बदलने की जरूरत है। उन्होंने कहा, ‘भारत का विचार रहा है कि नए सदस्यों के शामिल होने से ब्रिक्स एक संगठन के रूप में और मजबूत होगा तथा हमारे सभी साझा प्रयासों को नई गति मिलेगी। अन्य देशों ने भी ब्रिक्स में शामिल होने की इच्छा व्यक्त की है, भारत उन्हें भागीदार देशों के रूप में शामिल करने के लिए आम सहमति बनाने में योगदान देगा।’ भारतीय पीएम ने आगे कहा कि ब्रिक्स का विस्तार और आधुनिकीकरण एक संदेश है कि दुनिया के सभी संस्थानों को बदलते समय की परिस्थितियों के अनुरूप ढलना चाहिए।

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आलोक कुमार राव author

करीब 20 सालों से पत्रकारिता के पेशे में काम करते हुए प्रिंट, एजेंसी, टेलीविजन, डिजिटल के अनुभव ने समाचारों की एक अंतर्दृष्टि और समझ विकसित की है। इ...और देखें

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