Ayodhya Ram Mandir Update: अयोध्या राम मंदिर के मुख्य शिखर पर हुई कलश स्थापना, श्रीराम के नारे से गूंजा प्रांगण

Ayodhya Ram Mandir Update: वैशाख माह को सनातन धर्म में अत्‍यंत ही पव‍ित्र माना जाता है। ऐसे में आज वैशाख कृष्ण प्रतिपदा के दिन, श्री रामजन्मभूमि मंदिर, अयोध्या के गर्भगृह के मुख्य शिखर पर प्रातः 9:15 बजे कलश पूजन विधि का शुभारंभ हुआ। इसके उपरांत प्रातः 10:15 बजे विधिवत रूप से कलश की स्थापना संपन्न की गई। आइए इससे जुड़ी जानकारी को जानते हैं।

Ayodhya Ram Mandir Update

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Ayodhya Ram Mandir Update: आज वैशाख कृष्ण प्रतिपदा, दिनांक 14 अप्रैल 2025 को, श्री राम जन्मभूमि मंदिर के गर्भगृह के मुख्य शिखर पर सुबह 9:15 बजे कलश पूजन विधि का शुभारंभ हुआ। इसके बाद, सुबह 10:15 बजे विधिवत रूप से कलश की स्थापना संपन्न की गई। इस कलश को श्रीराम मंदिर के मुख्य शिखर पर स्थापित किया गया। इससे पहले, 3 अप्रैल को राम मंदिर के पांच शिखरों का वैदिक मंत्रोच्चार के साथ प्रतिष्ठा पूजन किया गया था। इन शिखरों को राम जन्मभूमि परिसर के पास रखा गया था और 11 वैदिक आचार्यों ने मिलकर ये अनुष्ठान संपन्न किया। इसके साथ ही, श्री राम जन्मभूमि मंदिर परिसर में बनने वाले सप्त मंदिरों के शिखरों का सामूहिक पूजन और अभिषेक भी किया गया। इस पावन अवसर पर पूज्य कमल नयन दास महाराज और गौरांग दास महाराज के साथ अन्य ट्रस्टी, लार्सन एंड टूब्रो, टाटा कंसल्टिंग इंजीनियर्स, ट्रस्ट के प्रतिनिधि, इंजीनियर, निर्माण कार्य में लगे इंजीनियर तथा श्रमिक उपस्थित थे। अब जल्द ही मंदिर के शिखर पर स्वर्ण कलश स्थापित किया जाएगा।

कलश स्थापना का महत्व (Kalash Sthapna ka Mahatva)

हिंदू धर्म में कलश स्थापना का विशेष स्थान है। इसे शक्ति और सभी देवी-देवताओं का निवास माना जाता है। धार्मिक और आध्यात्मिक दृष्टि से कलश स्थापना एक पवित्र प्रक्रिया है, जो जीवन में सकारात्मक ऊर्जा का संचार करती है। इसके प्रभाव से घर में सुख, शांति और समृद्धि का वातावरण बनता है, साथ ही नकारात्मक शक्तियों से भी रक्षा होती है। पूजा-पाठ और धार्मिक कार्यों में कलश की स्थापना शुभता और आध्यात्मिक समर्पण का प्रतीक मानी जाती है। इसे स्थापित करने से देवी-देवताओं की कृपा प्राप्त होती है और हर क्षेत्र में सफलता का मार्ग प्रशस्त होता है। कलश न केवल धार्मिक परंपराओं को समृद्ध करता है, बल्कि आंतरिक शांति और मानसिक स्थिरता प्रदान करने में भी सहायक होता है। इसलिए, हिंदू धर्म में कलश स्थापना को अद्भुत महत्व दिया गया है।

वैशाख माह धार्म‍िक महत्‍व (Vaisakh Maah ka Dharmik Mahatva)

वैशाख माह हिंदू धर्म में अपने विशेष महत्व के लिए जाना जाता है। ये माह पवित्रता, धर्म और आध्यात्मिकता का प्रतीक है। वैशाख माह में भगवान विष्णु और देवी लक्ष्मी की आराधना करने से भक्तों को सुख-समृद्धि और शांति की प्राप्ति होती है। इसके साथ ही, इस माह में धार्मिक क्रियाएं जैसे दान, जप, और तपस्या को विशेष फलदायी माना जाता है। ऐसा माना जाता है कि इन शुभ कर्मों के माध्यम से अक्षय पुण्य की प्राप्ति होती है, जो जन्म-जन्मांतर तक बना रहता है। वैशाख माह में पवित्र नदियों जैसे गंगा, यमुना और सरस्वती में स्नान का विशेष महत्व है, क्योंकि ये आत्मा को शुद्ध करता है और सभी पापों का क्षय करता है।

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मेधा चावला author

हरियाणा की राजनीतिक राजधानी रोहतक की रहने वाली हूं। कई फील्ड्स में करियर की प्लानिंग करते-करते शब्दों की लय इतनी पसंद आई कि फिर पत्रकारिता से जुड़ गई।...और देखें

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