वोटिंग फेज को लेकर बीजेपी और जेडीयू के राय अलग-अलग।(फोटो सोर्स: टाइम्स नाउ डिजिटल)
Bihar Election 2025: बिहार चुनाव की तैयारियां अब अंतिम चरण में है। कुछ ही दिनों में चुनाव तारीखों का ऐलान हो जाएगा। मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार ने शनिवार को पटना में बिहार के मान्यता प्राप्त राजनीतिक दलों से चर्चा की। हालांकि, चर्चा के दौरान चुनाव के चरणों यानी वोटिंग फेज को लेकर बीजेपी और जेडीयू की अलग-अलग राय है।
भाजपा ने भारत के चुनाव आयोग (ईसीआई) से अधिकतम दो चरणों में मतदान करने का आग्रह किया है, क्योंकि इससे खर्च और व्यवधान कम होगा, जबकि जेडीयू) ने राज्य की अच्छी कानून व्यवस्था का हवाला देते हुए एक ही चरण में मतदान कराने की मांग की है।
समाचार एजेंसी पीटीआई के अनुसार, जेडीयू के कार्यकारी अध्यक्ष संजय कुमार झा ने चुनाव आयोग की टीम से मुलाकात के बाद पत्रकारों से कहा, "हमने चुनाव आयोग से एक ही चरण में विधानसभा चुनाव कराने का आग्रह किया है। यह संभव है। राज्य में न तो कानून-व्यवस्था की कोई समस्या है और न ही नक्सली हिंसा का कोई खतरा है। अगर महाराष्ट्र में एक ही चरण में चुनाव हो सकते हैं, तो यहां क्यों नहीं?"
बिहार भाजपा अध्यक्ष दिलीप जायसवाल ने कहा, "हमने चुनाव आयोग से एक या दो चरणों में चुनाव कराने का आग्रह किया है। चुनाव प्रक्रिया को चरणबद्ध तरीके से कराने की जरूरत नहीं है।"
बता दें कि मुख्य चुनाव आयुक्त ज्ञानेश कुमार, चुनाव आयुक्त सुखबीर सिंह सिंधु और विवेक जोशी के साथ बिहार के दो दिवसीय दौरे पर हैं। उन्होंने शनिवार को राजनीतिक दलों के प्रतिनिधियों से जानकारी लेने के बाद अधिकारियों के साथ चुनाव की तैयारियों की समीक्षा की।
चुनाव आयोग (ईसी) की टीम से मिलने के लिए प्रतिनिधिमंडल भेजने वाले दलों में भाजपा, कांग्रेस, जेडीयू, राजद, सीपीआई (एमएल) लिबरेशन, सीपीआई (एम), सीपीआई, लोक जनशक्ति पार्टी (रामविलास), बहुजन समाज पार्टी और आम आदमी पार्टी शामिल थीं।
चुनाव आयोग के एक बयान के अनुसार, अधिकांश राजनीतिक दल इस बात के पक्ष में हैं कि चुनाव छठ पर्व के तुरंत बाद कराए जाएं, जो बिहार का सबसे लोकप्रिय त्योहार है और इस महीने के अंत में पड़ता है, और यह प्रक्रिया जितना संभव हो सके कम चरणों में पूरी की जाए।
बिहार में दिवाली के बाद मनाए जाने वाले छठ पर्व का बहुत महत्व है। यह पर्व इस साल 25 से 28 अक्टूबर के बीच मनाया जाएगा।
अधिकारियों ने बताया कि मुख्य निर्वाचन आयुक्त ज्ञानेश कुमार और निर्वाचन आयुक्त एस एस संधू एवं विवेक जोशी के साथ बातचीत में छह राष्ट्रीय और इतनी ही राज्य स्तरीय पार्टियों के प्रतिनिधियों ने कम से कम चरण में चुनाव कराने पर भी जोर दिया। निर्वाचन आयोग के अधिकारी बिहार में चुनाव से जुड़ी तैयारियों का जायजा लेने के लिए दो दिन के लिए पटना में हैं।
बिहार की 243 सदस्यीय विधानसभा का कार्यकाल 22 नवंबर को समाप्त हो रहा है। पहले चरण का चुनाव छठ के तुरंत बाद अक्टूबर के अंत में होने की संभावना है। दिवाली और छठ के दौरान, बिहार से बाहर नौकरी करने वाले अधिकतर लोग त्योहार मनाने के लिए घर लौटते हैं और ऐसा माना जाता है कि मतदाताओं की अधिक भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए चुनाव कराने का यह सबसे अच्छा समय है।
निर्वाचन आयोग ने एक बयान में कहा, ‘‘चुनाव में मतदाताओं की भागीदारी को अधिकतम करने के लिए, राजनीतिक दलों ने सुझाव दिया कि चुनाव छठ त्योहार के तुरंत बाद कराये जाएं और चुनाव यथासंभव कम चरणों में पूरे कराये जाएं।’’
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