अब हर सेवा ऑनलाइन: भारत में 21,060 से ज्यादा ई-सर्विस अब आपकी उंगलियों पर

e-Governance India: 2,016 अनिवार्य ई-सेवाओं में से कुल 1,599 (36 राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों में से प्रत्येक के लिए 56) अब सभी 36 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में ऑनलाइन उपलब्ध हैं, जिससे 79 प्रतिशत से अधिक का सैचुरेशन रेट प्राप्त हुआ है।

e-Governance India

अप्रैल में विभिन्न राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों द्वारा 424 नई ई-सेवाएं जोड़ी गई हैं (फोटो क्रेडिट- सोशल मीडिया)

e-Governance India: प्रशासनिक सुधार और लोक शिकायत विभाग (डीएआरपीजी) द्वारा गुरुवार को जारी एक रिपोर्ट के अनुसार, देश के राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में प्रदान की जाने वाली ई-सेवाओं की कुल संख्या 21,062 के आंकड़े को छू गई है, जिनमें से 7,065 सेवाएं स्थानीय शासन और यूटिलिटी सर्विस सेक्टर के अंतर्गत आती हैं।

ये भी पढ़ें: Gmail में 'Unsubscribe' बटन पर क्लिक करना पड़ सकता है भारी, जानें साइबर ठगी का नया जाल!

नेशनल ई-गवर्नेंस सर्विस डिलीवरी असेसमेंट (एनईएसडीए) रिपोर्ट में कहा गया है कि अप्रैल में विभिन्न राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों द्वारा 424 नई ई-सेवाएं जोड़ी गई हैं, जिसमें सभी फोकस सेक्टर में सबसे अधिक संख्या में नई सेवाएं त्रिपुरा ने जोड़ी हैं। 2,016 अनिवार्य ई-सेवाओं में से कुल 1,599 (36 राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों में से प्रत्येक के लिए 56) अब सभी 36 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों में ऑनलाइन उपलब्ध हैं, जिससे 79 प्रतिशत से अधिक का सैचुरेशन रेट प्राप्त हुआ है।

16 राज्य और केंद्र शासित प्रदेश ऐसे थे, जिन्होंने 90 प्रतिशत से अधिक सैचुरेशन हासिल किया, जबकि महाराष्ट्र और उत्तराखंड ने 100 प्रतिशत सैचुरेशन हासिल किया। रिपोर्ट में चंडीगढ़ के राइट टू सर्विस (आरटीएस) फ्रेमवर्क के माध्यम से सार्वजनिक सेवा वितरण को मजबूत करने की प्रतिबद्धता पर प्रकाश डाला गया है।

रिपोर्ट में राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों द्वारा उनके सिंगल यूनिफाइड सर्विस डिलीवरी पोर्टल के माध्यम से उपलब्ध कराई गई ई-सेवाओं का विवरण और तीन नए अतिरिक्त मूल्यांकन मापदंडों को शामिल करने का स्टेटस भी शामिल है। रिपोर्ट में केंद्र सरकार के मंत्रालयों/विभागों के सर्विस डिलीवरी पोर्टल, वस्तु और सेवा कर पोर्टल और नेशनल साइबर क्राइम रिपोर्टिंग पोर्टल को बेस्ट प्रैक्टिस के उदाहरण के रूप में उजागर किया गया है।

डीएआरपीजी ने बेंचमार्किंग एक्सरसाइज के रूप में राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों और केंद्रीय मंत्रालयों को उनकी ई-सेवाओं के वितरण के संबंध में आंकलन करने के लिए 2019 में नेशनल ई-गवर्नेंस सर्विस डिलीवरी असेस्मेंट (एनईएसडीए) फ्रेमवर्क तैयार किया था, जिसमें सात क्षेत्रों को शामिल किया गया।

डीएआरपीजी हर दो साल में एनईएसडीए स्टडी आयोजित करता है। डीएआरपीजी एनईएसडीए वे फॉरवर्ड डैशबोर्ड, एनईएसडीए वे फॉरवर्ड मासिक रिपोर्ट और राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के एसपीओसी के साथ नियमित समीक्षा बैठकों पर उनके द्वारा प्रदान किए गए इनपुट के माध्यम से राज्यों/केंद्र शासित प्रदेशों में ई-सेवा वितरण में हुई प्रगति की निगरानी करता है।

इनपुट-आईएएनएस

देश और दुनिया की ताजा ख़बरें (Hindi News) पढ़ें हिंदी में और देखें छोटी बड़ी सभी न्यूज़ Times Now Navbharat Live TV पर। यूटिलिटी (Utility-news News) अपडेट और चुनाव (Elections) की ताजा समाचार के लिए जुड़े रहे Times Now Navbharat से।

Vishal Mathel author

विशाल मैथिल, टाइम्स नाउ नवभारत ( Timesnowhindi.com) में बतौर सीनियर कॉपी एडिटर नवंबर 2023 से जुड़ें हैं। इससे पहले वह दैनिक भास्कर, अमर उजाला मध्यप्रद...और देखें

End of Article

© 2025 Bennett, Coleman & Company Limited