लाल किले में क्यों है 'लाहौर द्वार', क्या है पाकिस्तान से कनेक्शन

नीलाक्ष सिंह

Dec 11, 2023

दिल्ली के लाल किले को पहले किसी और नाम से जाना जाता था, लाल किले को किला-ए-मुबारक (Qila-e-Mubarak) नाम दिया गया था।

Credit: canva

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किसने बनवाया था लाल किला

मुगल शासक शाहजहां ने 17वीं शताब्दी में इस किले का निर्माण करवाया था।

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दिल्ली से पहले आगरा थी राजधानी

एक जानकारी के अनुसार, शाहजहां ने यह किला तब बनवाया था जब उसने अपनी राजधानी आगरा से दिल्ली स्थानांतरित करने का निर्णय लिया था।

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बलुआ पत्थरों से बना है किला

बहुत कम लोग जानते हैं जब इसे बनवाया गया था तब इसका रंग सफेद था। इसे बलुआ पत्थरों से बनाया गया था।

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समय के साथ बदला नाम व रंग

समय के साथ न केवल इसका नाम, बल्कि किले का रंग भी बदलकर लाल कर दिया गया, यह बदलाव द्वारा कराया गया था।

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कौन थे वास्तुकार

गौरतलब है कि उस शासनकाल के दौरान मशीनरी सीमित ​थी, तब भी उस समय के बेहतरीन वास्तुकारों उस्ताद हामिद और उस्ताद अहमद ने इसे बनाने में 10 साल का वक्त लिया।

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किले में था कोहिनूर हीरा

क्या आप जानते हैं कोहिनूर हीरा वास्तव में शाहजहां के शाही सिंहासन का एक हिस्सा था, जो इस किले के दीवानी-ए-खास में स्थित था। हालांकि बाद में इसे लूट लिया गया था।

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किले का रंग महल

लाल किले में कई शानदार महल हैं, जिसमें से एक 'रंग महल' है, जिसका शाब्दिक अर्थ है "रंगों का महल"। इस महल का उपयोग सम्राटों की पत्नियों द्वारा किया जाता था।

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किले के दो प्रमुख द्वार

लाल किले में दो मुख्य द्वार हैं दिल्ली गेट और लाहौर गेट। लाहौर गेट का नाम लाहौर की ओर खुलने के कारण पड़ा। हालांकि उसे समयभारत और पाकिस्तान एक ही देश हुआ करते थे।

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