Jun 5, 2024
1947 में बंटवारे के बाद कई कारोबारी पाकिस्तान से भारत आए थे। तो वहीं कुछ कारोबारी यहां से वहां चले गए थे
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इनमें निशात ग्रुप के चेयरमैन मियां मुहम्मद मनशा शामिल हैं। वे 6 साल के थे जब 1947 में उनका परिवार कोलकाता से पंजाब (पाकिस्तान) चला गया था
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उनके ग्रुप की कंपनियों में एमसीबी बैंक, डीजी सीमेंट और हुंडई निशात मोटर्स शामिल हैं
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पाकिस्तान गल्फ इकोनॉमिस्ट के मुताबिक निशात ग्रुप की वैल्यू 2022 में 5.57 अरब डॉलर या 46330 करोड़ रु थी
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दाऊद ग्रुप के फाउंडर अहमद दाऊद बंटवारे से पहले भारत में आयातित यार्न के सबसे बडे़ सप्लायर्स में से एक थे। 1947 में वे भी चले गए
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उनका ग्रुप शिपिंग, पेट्रोलियम, इंश्योरेंस, केमिकल्स और जूट मिल्स सहित कई सेक्टरों में कारोबार करता है, जिसकी वैल्यू 2022 में करीब 13725 करोड़ रु थी
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रूह अफजा बनाने वाली हमदर्द की शुरुआत की थी हकीम हाफिज अब्दुल मजीद ने। बंटवारे के बाद उनके एक बेटे हकीम मुहम्मद सईद कराची चले गए
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सईद ने वहां हमदर्द पाकिस्तान की शुरुआत की, जो वहां रूह अफजा भी बेचती है। 2022 में हमदर्द पाकिस्तान का रेवेन्यू करीब 400 करोड़ रु रहा था
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