लवीना शर्मा
Dec 13, 2022
वास्तु अनुसार मुख्य द्वार की सही दिशा उत्तर-पूर्व, उत्तर, पूर्व या पश्चिम मानी जाती है क्योंकि इन दिशाओं को शुभ माना जाता है।
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मुख्य प्रवेश द्वार दक्षिण-पश्चिम, दक्षिण, उत्तर-पश्चिम या दक्षिण-पूर्व दिशा में होने से बचें।
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घर का मुख्य द्वार घर के किसी भी अन्य दरवाजे से बड़ा होना चाहिए। साथ ही ये क्लॉकवाइज तरीके से खुलना चाहिए।
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मुख्य द्वार के सामने नेमप्लेट जरूर लगानी चाहिए। अगर प्रवेश द्वार उत्तर-पश्चिम में हैं तो धातु की नेमप्लेट लगानी चाहिए।
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मुख्य द्वार को दिव्य प्रतीकों जैसे ॐ, स्वास्तिक, क्रॉस आदि से सजाएं। साथ ही फर्श पर रंगोली जरूर बनाएं। इससे आपका सौभाग्य बढ़ेगा।
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आप मुख्य द्वार वाले क्षेत्र को गणेश और लक्ष्मी जी की मूर्तियों से भी सजा सकते हैं, इससे धन और समृद्धि में बढ़ोतरी होती है।
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इस बात का ध्यान रखें कि घर का मुख्य द्वार हमेशा रोशनी से जगमगाता रहे। वहां बिल्कुल भी अंधेरा नहीं होना चाहिए।
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घर के मेन गेट की दहलीज संगमरमर या लकड़ी की होनी चाहिए। इससे घर में नकारात्मक ऊर्जा प्रवेश नहीं कर पाती है।
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घर के मेन गेट पर डोरमैट जरूर लगाएं। इससे घर में नकारात्मक ऊर्जा प्रवेश नहीं कर पाती है।
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घर के मेन गेट पर मनी प्लांट, तुलसी का पौधा, शमी प्लांट जैसे शुभ पेड़-पौधे लगा सकते हैं। इससे घर में सकारात्मक ऊर्जा बढ़ती है।
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दरवाजे के बाहर लगाई जाने वाली घंटी कम से कम 5 फुट या उससे ऊपर लगवाएं। साथ ही ऐसी डोर बेल चुनें, जिसकी आवाज मधुर और सुकून देने वाली हो।
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