Nov 12, 2022
By: लवीना शर्मावैदिक ज्योतिष में राहु-केतु इन दोनों ही ग्रहों को छाया ग्रह का दर्जा दिया गया है। बहुत से लोग राहु-केतु ग्रहों को अशुभ भी मानते हैं।
कुंडली में इन दोनों ग्रहों की स्थिति देखकर पता चलता है कि ये आपको शुभ फल देंगे या अशुभ।
जन्म कुंडली में यदि राहु केतु योग कारक ग्रहों के साथ स्थित होते हैं तो ये योग कारक ग्रहों से भी 4 गुना अधिक शुभ फल देते हैं।
राहु इस समय मेष राशि में है और केतु तुला राशि में मौजूद है। 12 अप्रैल को इन दोनों ग्रहों ने इन राशियों में प्रवेश किया था।
राहु-केतु ग्रह किसी भी व्यक्ति की कुंडली में विशेष स्थिति में होने पर जातक को राजा से रंक और रंक से राजा बनाने का सामर्थ्य रखते हैं।
30 अक्टूबर 2023 में राहु मीन राशि में प्रवेश करेगा तो केतु कन्या राशि में प्रवेश करेगा।
राहु-केतु हमेशा अपनी पिछली राशि में गोचर करते हैं। जबकि बाकी सभी ग्रह हमेशा अपनी आगे वाली राशि में गोचर करते हैं।
राहु-केतु मेष, तुला, धनु और मकर वालों को परेशान करेंगे। इन राशियों के लोगों को स्वास्थ्य से लेकर करियर लाइफ तक में परेशानियां बनी रहेंगी।
भगवान शिव की पूजा करें। रुद्राभिषेक करें। चींटियों को भोजन डालें। राहु-केतु के बीज मंत्रों का जाप करें।
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