Jan 8, 2023
बद्रीनाथ, हेमकुंड साहिब और इंटरनेशनल स्कीइंग स्थल औली सरीखे प्रसिद्ध स्थलों का एंट्री गेट (प्रवेश द्वार) जोशीमठ आपदा के कगार पर खड़ा है।
Credit: IANS
आदि गुरु शंकराचार्य की तपोभूमि के रूप में जाना जाने वाला जोशीमठ धीरे-धीरे दरक रहा है। वहां घरों, सड़कों और खेतों में बड़ी-बड़ी दरारें आने लगीं।
Credit: IANS
स्थानीय लोगों ने कहा कि कई घर धंस गए। सीएम पुष्कर सिंह धामी ने जोखिम वाले घरों में रह रहे 600 परिवारों को तत्काल अन्यत्र भेजे जाने का आदेश दिया।
Credit: IANS
जोशीमठ में छह जनवरी, 2023 की शाम मंदिर के ढहने से निवासी चिंतित हैं। वे एक साल से अधिक समय से घरों की बड़ी दरार वाली दीवारों के बीच भय के साए में जी रहे थे।
Credit: IANS
जोशीमठ नगर निकाय के पूर्व अध्यक्ष ऋषि प्रसाद सती के मुताबिक, "यह समस्या 14-15 महीने पहले गांधीनगर क्षेत्र में शुरू हुई थी।"
Credit: IANS
उन्होंने आगे बताया कि यह दिक्कत बाद में सुनील, मनोहर बाग, सिंगधार तथा मारवाड़ी जैसे अन्य क्षेत्रों में फैल गई।
Credit: IANS
जोशीमठ बचाओ संघर्ष समिति के संयोजक अतुल सती ने बोले, ‘‘लोग बांस के खंभे की मदद से और रस्सी बांधकर अपने-अपने घरों को सहारा दे रहे हैं।’’
Credit: IANS
वह आगे बोले जोशीमठ रणनीतिक, धार्मिक और पर्यटन महत्व का अंतिम सीमावर्ती शहर है जो भूकंपीय क्षेत्र-5 की श्रेणी में आता है।
Credit: IANS
अगर भूकंप आता है तो क्षेत्र में भारी जनहानि और संपत्ति का नुकसान होगा। सती ने चेतावती देते हुए निवासियों के तत्काल पुनर्वास की मांग की।
Credit: IANS
Thanks For Reading!
Find out More