Aug 28, 2023
अमेरिका के एक वैज्ञानिक थे, जिनका नाम यूजीन मर्ले शूमेकर था, कहा जाता है कि अगर इन्हें बीमारी नहीं होती तो यहीं चांद पर पहले जाते
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नासा के ये वैज्ञानिक कई चांद मिशनों के अहम हिस्सा रहे, कई अंतरिक्ष यात्रियों को इन्होंने तैयार किया था
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18 जुलाई 1997 को उनकी मृत्यु के कार क्रैश में तब हुई जब वो ऑस्ट्रेलिया में एक उल्कापिंड द्वारा बनाये गए गड्ढे को देखने जा रहे थे
मौत के बाद उनके दोस्त ने यह प्रस्ताव रखा कि यूजीन मर्ले शूमेकर चांद पर दफनाया जाना चाहिए
इसके बाद नासा यूजीन मर्ले शूमेकर को चांद पर दफनाने के लिए तैयार हो गया
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6 जनवरी 1998 को जब नासा का एक और चांद मिशन लॉन्च हुआ तब यूजीन मर्ले शूमेकर की अस्थियां वहां भेजी गईं
इसके जरिए पीतल की एक फॉयल में उनकी अस्थियों का कुछ हिस्सा भेजा गया, जिसमें उनके नाम और जीवनकाल-मृत्यु की तारीख लिखी हुई थी
मरने के बाद ही सही यूजीन मर्ले शूमेकर का चांद पर जाने का सपना पूरा हुआ
और इस तरह चांद पर दफनाये जाने वाल यूजीन मर्ले शूमेकर पहले और इकलौते इंसान बने
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