मंत्रों के उच्चारण से पहले क्यों लगाया जाता है ओम, क्या जानते हैं आप?

सनातन धर्म में लगभग हर मंत्र से पहले ॐ जरूर लगाया जाता है। लेकिन क्या आपने कभी सोचा ऐसा क्यों किया जाता है। चलिए इस बारे में जानते हैं विस्तार से यहां।

मंत्र के आगे ॐ लगाने का महत्व
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मंत्र के आगे ॐ लगाने का महत्व

ओम शब्‍द तीन अक्षरों के मेल यानी क‍ि अ, उ और म से म‍िलकर बना है। इसे संपूर्ण सृष्टि का प्रतीक माना जाता है। इसके साथ ही ॐ को ब्रह्मांड की पहली ध्वनि भी माना गया है। कहते हैं ओम के उच्‍चारण मात्र से ही जीवन से सारी नकारात्‍मकता खत्‍म हो जाती है। चलिए जानते हैं मंत्रों से पहले ॐ लगाने का महत्व।

मंत्र जाप में शुद्धि का कारक
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मंत्र जाप में शुद्धि का कारक

कहते हैं किसी भी मंत्र के पहले 'ॐ' लगाने से मंत्र जाप में होने वाली गलती दूर हो जाती है और इससे दोष नहीं लगता।

मंत्र की शक्ति बढ़ जाती है
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मंत्र की शक्ति बढ़ जाती है

कहते हैं 'ॐ' लगाने से मंत्र की शक्ति बढ़ जाती है और मंत्र पूर्णतया शुद्ध हो जाता है। 'ॐ' लगाने से मन से चिंता और तनाव दूर हो जाते हैं।

पुण्य की होती है प्राप्ति
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पुण्य की होती है प्राप्ति

श्रीमद्भागवत गीता के अनुसार क‍िसी भी मंत्र से पहले ओम के उच्‍चारण से व्‍यक्ति को अत्‍यंत पुण्‍य म‍िलता है।

ओम शब्द में वेदों का सार
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ओम शब्‍द में वेदों का सार

कठोपन‍िषद में बताया गया है क‍ि ओम शब्‍द में वेदों का सार, तपस्वियों और योग‍ियों का सार समाया हुआ है। इसलिए किसी भी मंत्र का जप करने से पहले ओम मंत्र का जप जरूर करना चाहिए।

पूर्ण फल की होती है प्राप्ति
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पूर्ण फल की होती है प्राप्ति

धार्मिक ग्रंथों के अनुसार किसी भी देवी-देवता, ग्रह या ईश्वर के मंत्रों के पहले ओम लगाना आवश्यक होता है। इससे मंत्र का पूर्ण फल प्राप्त हो जाता है।

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